अकबर का वित्त मंत्री कौन था? Akbar ka vitt mantri kaun tha?

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नमस्कार दोस्तों स्वागत है आप सभी का एक नए आर्टिकल में, अगर आप भी यह जानना चाहते हैं कि Akbar ka vitt mantri kaun tha? तो यह आर्टिकल आप सभी के लिए बहुत ही खास रहने वाला है, क्योंकि आज हम जानेंगे कि अकबर का वित्त मंत्री कौन था?

अकबर एक बहुत शक्तिशाली और वीर राजा था, अकबर के पिता का नाम हुमायूं था। अकबर को 13 वर्ष की आयु में राजगद्दी पर बिठा दिया गया था। अकबर दिल्ली सल्तनत का सबसे शक्तिशाली राजा में से एक था।

आज हम आपको अकबर से जुड़ी जानकारी और अकबर का वित्त मंत्री कौन था? के बारे में पूरी डिटेल से बताएंगे, इसलिए आप हमारे साथ लास्ट तक इस आर्टिकल के माध्यम से जुड़े रहे।

आइए दोस्तों बिना किसी देरी किए आर्टिकल को शुरू करते हैं।

अकबर का वित्त मंत्री कौन था?

अकबर के वित्त मंत्री का नाम टोडरमल था। अकबर के दरबार में नवरत्नों में से एक टोडरमल का भी नाम था, ये नवरत्न अकबर के बहुत ही खास थे। टोडरमल ने एक नई राजस्व प्रणाली की स्थापना की। जिसके चर्चे अकबर के दरबार में फ़ैल गए, इसलिए टोडरमल अकबर के खास बन गए थे।

इस प्रकार अकबर ने टोडरमल को अपने नवरत्नों में शामिल कर लिया। उत्तर प्रदेश के सीतापुर में टोडरमल ने अपने लिए एक किला भी बनवाया।

टोडरमल अकबर का वित्त मंत्री कैसे बना?

टोडरमल ने अपनी आजीविका लेखक के तौर पर आरंभ की थी तथा धीरे-धीरे तरक्की कर अपनी रैंकों को आगे बढ़ाया। शेरशाह सूरी ने पंजाब के रोहतास में नए किले का निर्माण कराने की सोची, उनके सम्मुख यह विकट समस्या उत्पन्न हो गई कि यह उक्त किले का दायित्व किसे सौंपे।

तब शेरशाह सूरी ने टोडरमल पर विश्वास किया और किले के निर्माण का दायित्व टोडरमल को सौंपा। मुगलों के द्वारा शूर वंश को उखाड़ फेंकने के बाद वह अकबर के अधिकार प्रकट किया। अकबर ने टोडरमल को पहले आगरा का प्रभारी नियुक्त किया और बाद में उन्हें गुजरात का राज्यपाल बनाया।

टोडरमल ने कई बार अकबर की बंगाल की तक्षालों का प्रबंधन भी किया। जब अकबर ने उन्हें मुगल साम्राज्य की राजस्व प्रणाली का दायित्व सौंपा, तब उन्होंने अकबर के साम्राज्य की राजस्व प्रणाली को नए तरीके से विकसित कर भूमि की बंदोबस्ती और राजस्व वसूली की प्रक्रिया में अनेक सुधार किए।

जिसकी वजह से नई कर प्रणाली विकसित हुई, तथा मुगल सल्तनत खजाने में वृद्धि हुई और आमजन को अनावश्यक कर से छुटकारा मिला। इसी कारण अकबर ने टोडरमल को वित्त मंत्री नियुक्त करते हुए अपने नवरत्नों में शामिल किया।

टोडरमल का जीवन-परिचय

टोडरमल का जन्म उत्तर प्रदेश के एक खत्री परिवार में हुआ था। टोडरमल का जन्म लहरपुर के सीतापुर नामक गांव में हुआ था। उनका वास्तविक नाम ‘अल्ल-टण्डन’ था। जब टोडरमल छोटा था तब ही टोडरमल के पिता की मृत्यु हो गई थी। इसलिए टोडरमल को अपने जीवन में बहुत उतार-चढा़व का सामना करना पड़ा।

टोडरमल का जन्म स्थान अवध प्रांत के सीतापुर जिले के अंतर्गत तारापुर नामक गांव में हुआ था। टोडरमल एक योद्धा, एक योग्य प्रशासक और एक वित्त मंत्री थे। टोडरमल अकबर के दरबार के ‘नवरत्न में’ से एक थे। इन्होंने भूमि-पैमाइश के लिए विश्व की प्रथम मापन-प्रणाली तैयार की थी।

टोडरमल ने बिहार के पटना में नोचरघाट में स्थित भगवान चित्रगुप्त मंदिर का पुनर्निर्माण 1574 ई. कराया था। उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा अपने प्रदेश के राजस्व अधिकारियों के लिए बनाए गए एकमात्र राजस्व प्रशिक्षण संस्थान का नाम टोडरमल भूलेख प्रशिक्षण संस्थान रखा है। यहां पर आईपीएस, आईएएस को राजस्व संबंधी प्रशिक्षण की सुविधा है।

टोडरमल की मृत्यु 8 नवम्बर 1589 को लौहार में हुई थी। टोडरमल हिंदू धर्म से संबंध रखते थे, जिसके कारण उनका अंतिम संस्कार भी हिंदू परम्परा के अनुसार किया गया। उनके अंतिम संस्कार में राजा भगवान दास भी उपस्थित रहे थे।

अकबर के नौ नवरत्न के नाम

  1. अबुल फजल
  2. फैजी
  3. तानसेन
  4. बीरबल
  5. टोडरमल
  6. मान सिंह
  7. अब्दुल रहीम खान-ए-खाना
  8. फकीर अजिउद्दीन
  9. मममुल्ला-दो-प्याजा

अकबर का जीवन-परिचय

अकबर का जन्म 1542 ई. को अमरकोट के राणा वीरसाल के महल में हुआ था, अकबर के पिता का नाम हुमायूं और माता का नाम नवाब हमीदा बानो बेगम था। अकबर मुगल वंश का तीसरा शासक था। अकबर का शासनकाल 1556-1604 तक रहा।

अकबर का पालन पोषण बहुत ही अच्छे से किया गया। परिवार के सभी सदस्य अकबर को दुलार प्यार करते थे। इसी कारण अकबर का पढ़ाई-लिखाई में मन नहीं लगता था, अकबर केवल सैना-शिक्षा में ही दिलचस्पी रखता था उसका अधिकतर समय दौड़, कुश्ती और घुड़सवार आदि में बीतता था।

बादशाहों में अकबर ही एक ऐसा बादशाह था, जिसे हिंदू मुस्लिम दोनों वर्गों का बराबर प्यार और सम्मान मिला। उसने हिंदू-मुस्लिम संप्रदायों के बीच की दूरियां कम करने के लिए दीन-ए इलाही नामक धर्म की स्थापना की।

अकबर की मृत्यु 1605 में हुई थी, अकबर को आगरा के निकट सिकंदरा में दफनाया गया।

FAQs:- अकबर का वित्त मंत्री कौन था?

टोडरमल कौन था?

टोडरमल एक उच्च कोटि का विद्वान एवं वीर एवं कुशल सैनापति के तौर पर जाने जाते हैं। इनका जन्म यूपी के सीतापुर के लहरपुर नामक गांव में हुआ था। टोडरमल हिंदू परिवार से संबंध रखते थे और इनका वास्तविक नाम ‘अल्ल-टण्डन’ था।

अकबर ने टोडरमल को नवरत्नों में शामिल क्यों किया?

अकबर के दरबार में टोडरमल ने एक राजस्व प्रणाली की स्थापना की, जिसके चर्चे अकबर के पूरे दरबार में फ़ैल गए। इसलिए टोडरमल अकबर ने बहुत करीबी दोस्त बन गए थे इस प्रकार अकबर ने टोडरमल को अपने नवरत्नों में शामिल कर लिया था।

टोडरमल अकबर के दरबार में किस पद पर था?

टोडरमल अकबर के दरबार में नवरत्नों में से एक था, टोडरमल ने अकबर के दरबार में एक राजस्व प्रणाली की स्थापना की, जिसके कारण ही अकबर ने टोडरमल को नवरत्नों में शामिल किया था। टोडरमल अकबर के दरबार में वित्त मंत्री के पद पर था।

Conclusion:-

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अगर आपको हमारा यह आर्टिकल “अकबर का वित्त मंत्री कौन था? अच्छा लगा है, तो इसे अपने दोस्तों और करीबियों के साथ शेयर जरूर करिएगा।

जय हिंद, जय भारत।

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